Tumhare liye तुम्हारे लिए

तुम्हारे लिए
मुठी भर वफ़ा के सितारे
चंद कतरे 
मुहब्बत की चांदनी के
कुछ जज़्बाती बादल
बस कोई इतना सामान 
मुझे मुहैया करवा दे
तो ज़मीन पे मैं भी 
तुम्हारे लिए
सितारों भरा आसमान 
बसा दूँ ।
"मनोज नायाब"
 

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